गंगा की सहायक देवगाड़ का जल स्तर बढ़ने से गंगोत्री धाम में भारी नुकसान, गंगा पुरोहितों ने सिंचाई विभाग पर लगाए आरोप
गंगा की सहायक देवगाड़ का जल स्तर बढ़ने से गंगोत्री धाम में भारी नुकसान, गंगा पुरोहितों ने सिंचाई विभाग पर लगाए आरोप
उत्तरकाशी (वीरेंद्र नेगी)–गंगोत्री धाम में पिछले तीन दिनों से गंगा का जल स्तर अपना विकराल रूप दिखा रही हैं।
गंगोत्री धाम में भागीरथी कल रात्री में भी अपने रौद्र रूप में बह रही थी .नदी का जलस्तर कम होने की बजाय धीरे-धीरे बढ़ और घट रही हैं। गंगोत्री धाम के कोषाध्यक्ष महेश सेमवाल ने बताया कि गंगोत्री धाम सहित घाटी में बारिश भी कम हो रही है। उसके बावजूद भी नदी का जलस्तर कम नहीं हो रहा है।
गंगा पुरोहित सेमवाल ने सिंचाई विभाग की कार्यशैली पर आरोप लगाते हुए कहा। संबंधित विभाग द्वारा जो सुरक्षा दीवाल लगाई गई हैं। उसका मलबा गंगा नदी के बीच में होने के कारण गंगा अपने पूर्व रास्ते ना जाकर मंदिर व् भगीरथ शिला की और अपना रुख मोड कर चल रही हैं. जिससे गंगोत्री धाम में काफी नुकसान देखने को मिल रहा है। गंगोत्री में लोग अपने दुकानों और होटलों आश्रमों के बाहर बैठे हैं। वहीं शाम को नदी के तेज वेग के साथ शिवांनंद कुटीर आश्रम का 90 प्रतिशत हिस्सा बह गया है, हालांकि इस बीच कांवडिए और यात्री गंगोत्री मंदिर का दर्शन कर रहे हैं,वहीं जिलाधिकारी और एसपी cctv के माध्यम से स्थिति पर नजर बनाए हुए हैं।
गंगा पुरोहित राजेश सेमवाल का कहना है कि गंगा नदी की शाखाओं में से एक देवगाड़ हैं. जिसमे ज्यादा मात्रा में जल भराव होने से गंगा का जल स्तर बढ़ा, जिससे गंगोत्री धाम में इसका नुकसान देखने को मिला. इस पर प्रशासन को गोमुख के ग्लेशियर पर विशेष ध्यान देने की आवश्यकता ह।